जर्मनी: महिला ने स्टेशन पर चाकू से किया हमला, 12 लोग घायल

जर्मनी के हैम्बर्ग शहर में शुक्रवार शाम को मुख्य रेलवे स्टेशन पर एक महिला द्वारा चाकू से किए गए हमले में कम से कम 12 लोग घायल हो गए। पुलिस ने बताया कि हमले के बाद 39 वर्षीय महिला को गिरफ्तार कर लिया गया है।

आपातकालीन सेवाओं के अनुसार, घायलों में से कुछ की हालत बेहद गंभीर है, हालांकि कितने लोगों को जीवन-भय की स्थिति में चोटें आई हैं, यह अभी स्पष्ट नहीं हो पाया है।

यह हमला शुक्रवार को स्थानीय समयानुसार शाम करीब 6 बजे (1600 GMT) के आसपास हुआ, जब स्टेशन पर काफी भीड़भाड़ थी क्योंकि सप्ताह का आखिरी कार्यदिवस समाप्त हो रहा था। हैम्बर्ग पुलिस ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X (पूर्व में ट्विटर) पर बताया कि स्टेशन पर “एक महिला ने कई लोगों को चाकू से घायल कर दिया” और उसे मौके से गिरफ्तार कर लिया गया।

पुलिस ने आगे बताया कि प्रारंभिक जांच से संकेत मिला है कि संदिग्ध महिला ने अकेले ही यह हमला किया। हमले के पीछे का मकसद अभी स्पष्ट नहीं हुआ है, लेकिन जांच तेजी से चल रही है।

घटनास्थल पर अफरा-तफरी
घटना के तुरंत बाद स्टेशन के एक हिस्से को पुलिस ने सील कर दिया। घटनास्थल की तस्वीरों में देखा जा सकता है कि प्लेटफॉर्म के एक छोर तक पहुंच को रोक दिया गया है और घायलों को एम्बुलेंस में ले जाया जा रहा है। कुछ घायलों को स्टेशन में खड़ी ट्रेनों में ही इलाज दिया गया, जैसा कि स्थानीय मीडिया ने रिपोर्ट किया।

हैम्बर्ग अग्निशमन विभाग के प्रवक्ता ने पुष्टि की कि कुल 12 लोग घायल हुए हैं, जिनमें से 6 की हालत नाजुक है। हालांकि कुछ जर्मन मीडिया संस्थानों ने बताया कि गंभीर रूप से घायल लोगों की संख्या इससे कम हो सकती है।

जर्मनी की रेल सेवा प्रदाता डॉयचे बान (Deutsche Bahn) ने भी X पर जानकारी दी कि स्टेशन के चार प्लेटफॉर्म बंद कर दिए गए हैं, जिससे लंबी दूरी की सेवाओं में देरी और रूट में बदलाव किया गया है।

सुरक्षा को लेकर चिंता
हाल के महीनों में जर्मनी में कई हिंसक हमलों ने सुरक्षा को लेकर गहरी चिंता पैदा की है। इनमें से कई हमलों के पीछे चरमपंथी विचारधाराएं—चाहे वह जिहादी हों या अतिदक्षिणपंथी—पाई गई हैं।

पिछले रविवार को भी एक बार में चाकू से हुए हमले में चार लोग घायल हुए थे। उस मामले में संदिग्ध सीरियाई नागरिक ने गिरफ्तारी के वक्त जिहादी सोच होने की बात स्वीकार की थी, जिससे जांच फेडरल प्रॉसीक्यूटर को सौंप दी गई थी।

इन घटनाओं ने हाल ही में जर्मनी में हुए चुनावों के दौरान सुरक्षा और प्रवासियों से जुड़ी बहस को एक प्रमुख मुद्दा बना दिया। फरवरी के अंत में हुए चुनावों में कंज़र्वेटिव पार्टी CDU/CSU को सबसे ज्यादा वोट मिले, वहीं कट्टरपंथी और प्रवासी विरोधी पार्टी ‘ऑल्टरनेटिव फॉर जर्मनी’ (AfD) ने भी रिकॉर्ड 20% वोट हासिल किए।

महिलाओं की सुरक्षा और सार्वजनिक स्थानों पर बढ़ती हिंसा को लेकर चिंता का विषय एक बार फिर सामने है। ऐसे में यह जरूरी हो गया है कि सरकार और प्रशासन न केवल हमलावरों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करे, बल्कि आम नागरिकों की सुरक्षा के लिए ठोस कदम भी उठाए।

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